भगवान राम जनजन के है आज घर घर मनाये उत्सव:-कौशल राज सिंह देव
सिमडेगा: अयोध्या राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम से पूर्व विश्व हिंदू परिषद सिमडेगा के बैनर तले रविवार को सिमडेगा शहर में भव्य शोभायात्रा सह रामजानकी मंदिर में महाआरती का आयोजन किया गया। कार्यक्रम से पूर्व सिमडेगा शहर के विभिन्न क्षेत्र जिसमें सलडेगा ,ठाकुरटोली,प्रिंस चौक,कुंज नगर,नीचे बाजार गुलज़ार गली,राम नगर, गोसाई टोली,सायपुर ,खिजरी खुटीटोली,पांडेटोली,नवाटोली,हरिपुर सहित सिमडेगा शहरी क्षेत्र के सभी मोहल्ले से सैकड़ो की संख्या में मातृ शक्ति एवं बन्धु भाई सहित सभी सनातनियों ने हाथो में भगवा ध्वज लेकर जय श्री राम के जय घोष के साथ पूरे शहर का भ्रमण किया शोभायात्रा के दौरान भगवान राम लक्ष्मण सीता का राम दरबार की झांकी सलडेगा से शामिल हुई थी जो लोगो को मन मोहा। जिसके बाद राम जानकी मंदिर सिमडेगा पहुंची। जहां पर भगवान दरबार एवं ब्रह्मलीन बाबा श्री 1008 जयराम प्रपन्नाचार्य महाराज के चित्र पर दीप प्रज्वलित पुष्प अर्पित एवं पूजन कर कार्यक्रम में तीन बार ओंकार ध्वनि के साथ शुरुआत की गई। इस मौके पर विहिप के अलावा सभी दुर्गा पूजा समिति, समन्वय समिति ,मंदिर समिति शामिल रहे। इसके बाद सामूहिक हनुमान चालीसा पाठ का आयोजन किया गया। वही मौके पर लहर सिंह के द्वारा श्री राम जन्मभूमि के संघर्षों भरा इतिहास एवं सभी शामिल योद्धाओं के बारे में जानकारी देते हुए सभी लोगों के अंदर उर्जा संचार किया। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए विश्व हिंदू परिषद के जिला अध्यक्ष कौशल राज सिंह देव ने सभी लोगों को श्री राम जन्मभूमि प्राण प्रतिष्ठा की सर्वप्रथम शुभकामनाएं दी, जिसके बाद उन्होंने कहा मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्री राम जन जन के हैं जिन्होंने 14 वर्षों तक वनवास में रहकर आदर्श मूल्यों का पालन किया एवं अपने पिता के कर्तव्यों का पालन करते हुए समाज में पिता पुत्र के एवं भाई-भाई के संबंधों पर लोगों के बीच घनिष्ठ बड़े इसकी सीख दी। उन्होंने कहा कि जिस प्रकार गिलहरी ने राम सेतु बनाने में अपनी सहयोग दिया इस प्रकार सभी लोगों को भविष्य में अपने सनातन सभ्यता और संस्कृति को बचाए रखने के लिए सहयोग करने का आवाहन किया। उन्होंने माता शबरी के जीवनी पर कहा कि जिस प्रकार माता शबरी ने भक्त और भगवान के बीच की घनिष्ठता को हमारे बीच दर्शाया और उनके अंदर जो भाव थी इससे भगवान भी बंध गए। उन्होंने बताया कि जनजातीय क्षेत्रों में भगवान राम का प्रेम सदैव रहा है उन्होंने जनजातियों से प्रेम करना एवं प्रकृति के प्रति समर्पित रहने का भी भाव बताया है। उन्होंने सभी लोगों को प्रत्येक घरों में 22 जनवरी को दीप उत्सव एवं गांव के प्रत्येक मंदिरों में उत्सव मनाने को लेकर आवाहन किया उन्होंने कहा कि 500 वर्षों के लंबे संघर्ष के बाद यह दिन आया है ऐसे में हम सभी को हरगांव अयोध्या और हर मंदिर राम मंदिर बने हर परिवार में राम स्थापित हो उनके आदर्श स्थापित हों ऐसा प्रयास करना है। वहीं जैन मुनि डॉक्टर पदमराज ने कहा की बड़ा पावन दिन है कि हम सभी भगवान राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा के मौके पर उत्सव मना रहे हैं हम सभी को भगवान राम के बताएं मार्ग पर चलना है उन्होंने माता कौशल्या और मां सीता के प्रसंग की जानकारी देते हुए कहा की मां कौशल्या ने जब सीता ने उपहार मांगे थे तब अपने जीवन के सबसे कीमती राम को उपहार स्वरूप दिया था और और आज 500 वर्षों के लंबे संघर्ष के बाद भगवान मर्यादा पुरुषोत्तम राम का भव्य मंदिर में रामलला विराजमान होकर हम सभी को उपहार दिया जा रहा है। आने वाली पीढ़ी को हमारी सभ्यता संस्कृति को बचाए रखने के लिए आगे आना होगा। मौके पर कार्यक्रम सह सयोजक हनुमान बोंदिया के द्वारा भी संबोधित किया। इस मौके पर अयोध्या राम आंदोलन में शामिल होने वाले प्रबुद्ध जनों को अंगवस्त्र देकर सम्मानित किया। वहीं इसके बाद सामूहिक महा आरती का आयोजन किया गया इसके बाद महाप्रसाद का वितरण किया गया।कार्यक्रम में कार्यक्रम में नारायण दास के द्वारा सनातन समाज को संगठित रहने को लेकर संकल्प कराया इसके बाद शांति पाठ के साथ कार्यक्रम का समापन किया ।इधर आयोजन को सफल बनाने के लिए विश्व हिंदू परिषद सिमडेगा के अलावा सभी दुर्गा पूजा समिति सभी मंदिर समिति समन्वय समिति के अलावे गण्यमान्य प्रबुद्ध जन एवं समाजसेवी एवं सिमडेगा शहर के हजारों की संख्या में उपस्थित राम भक्तों की भूमिका रही।